होली के शुभ अवसर पर एक गीत प्रस्तुत है
आप सभी को होली बहुत बहुत मुबारक हो
होली नफ़रत से इंकार
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है होली रंगों का त्योहार
ये रंग बाँटे हैं सब में प्यार
न इन में द्वेष घोलना
ये सुंदर भावों का संचार
है इक दूजे की ये मनुहार
न इन में द्वेष घोलना
है होली नफ़रत से इंकार
दिलों के बीच न हो व्यापार
न इन में द्वेष घोलना
है पिचकारी वो प्रेम की धार
गिरा दे नफ़रत की दीवार
न इन में द्वेष घोलना
हैं इन रंगों के अर्थ हज़ार
नहीं हैं केवल ये बौछार
न इन में द्वेष घोलना
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सार्थक सन्देश देती होली मय रचना ...होली की शुभकामनायें
जवाब देंहटाएंहैं इन रंगों के अर्थ हज़ार
जवाब देंहटाएंनहीं हैं केवल ये बौछार
holi kee shubhkamnayen
अच्छी कविता। होली मुबारक !
जवाब देंहटाएंसबमें रंग बढ़ाये, प्रेम के।
जवाब देंहटाएंअच्छा गीत है..बिलकुल सही मौके पर
जवाब देंहटाएंआपकी रचनात्मक ,खूबसूरत और भावमयी
जवाब देंहटाएंप्रस्तुति भी कल के चर्चा मंच का आकर्षण बनी है
कल (21-3-2011) के चर्चा मंच पर अपनी पोस्ट
देखियेगा और अपने विचारों से चर्चामंच पर आकर
अवगत कराइयेगा और हमारा हौसला बढाइयेगा।
http://charchamanch.blogspot.com/
सार्थक संदेश...
जवाब देंहटाएंनेह और अपनेपन के
इंद्रधनुषी रंगों से सजी होली
उमंग और उल्लास का गुलाल
हमारे जीवनों मे उंडेल दे.
आप को सपरिवार होली की ढेरों शुभकामनाएं.
सादर
डोरोथी.
बहुत सुंदर सन्देश...होली की हार्दिक शुभकामनायें ...
जवाब देंहटाएंहैं इन रंगों के अर्थ हज़ार
जवाब देंहटाएंनहीं हैं केवल ये बौछार
is pyaari rachna ke saath holi ki badhai
है पिचकारी वो प्रेम की धार
जवाब देंहटाएंगिरा दे नफ़रत की दीवार
हैं इन रंगों के अर्थ हज़ार
नहीं हैं केवल ये बौछार
होली के त्यौहार के माध्यम से
सुन्दर और आसान शब्दों में
बहुत सार्थक सन्देश दिया है आपने...
गीत, कह भी रहा है
होली नफ़रत से इंकार
बौत सुन्दर गीत है इस्मत. इसे अपनी आवाज़ में ब्लॉग पर लगाओ न.
जवाब देंहटाएंप्रिय आपा इस्मत ज़ैदी जी
जवाब देंहटाएंसादर सस्नेहाभिवादन !
रंग भरा प्रणाम !
आज गीत ! वाऽऽह !
आपके भी अलग अलग रूप सामने आ रहे हैं :)
है होली रंगों का त्योहार
ये रंग बाँटे हैं सब में प्यार
न इन में द्वेष घोलना
ये सुंदर भावों का संचार
है इक दूजे की ये मनुहार
न इन में द्वेष घोलना
बहुत अच्छा गीत लिखा आपने … हार्दिक बधाई !
आपके स्वर के साथ ही है मेरा स्वर …
देखिए -
होली के दिन भूलिए भेदभाव अभिमान !
रामायण से मिल गले मुस्काए कुरआन !!
हिन्दू मुस्लिम सिक्ख का फर्क रहे ना आज
मौसम की मनुहार की रखिएगा कुछ लाज !!
क्या होली क्या ईद सब पर्व दें इक सन्देश !
हृदयों से धो दीजिए बैर अहम् विद्वेष !!
♥ होली की शुभकामनाएं ! मंगलकामनाएं !♥
- राजेन्द्र स्वर्णकार
बहुत सुंदर सन्देश.
जवाब देंहटाएंरंगों का त्यौहार बहुत मुबारक हो आपको और आपके परिवार को|
जवाब देंहटाएंकई दिनों व्यस्त होने के कारण ब्लॉग पर नहीं आ सका
है पिचकारी वो प्रेम की धार
जवाब देंहटाएंगिरा दे नफ़रत की दीवार
न इन में द्वेष घोलना
हैं इन रंगों के अर्थ हज़ार
नहीं हैं केवल ये बौछार...
होली पर एकता का सार्थक संदेश दिया है आपने.
है पिचकारी वो प्रेम की धार
जवाब देंहटाएंगिरा दे नफ़रत की दीवार ...
बहुत खूब ... होली तो सच में उमंग, खुशियों और रतांगो का त्योहार है ... और ये सब तो हर किसी को चाहिए होता है ...
सही संदेश देता है आपका मस्ती भरा गीत ....
आपको और आपके पूरे परिवार को होली की मंगल कामनाएँ ...
बहुत बढ़िया लिखा है आपने जो काबिले तारीफ़ है! बधाई!
जवाब देंहटाएंआपको एवं आपके परिवार को होली की हार्दिक शुभकामनायें!
छंद के साथ सुन्दर सा गीत रचा है आपने ...
जवाब देंहटाएंतारीफ़ करूँगा तो आप कहेंगी छोटी बहन को सर चढ़ा रहे हैं...लेकिन क्या करूँ जो बात सच है उसे सच ही कहना पड़ेगा...तारीफ़ की बात की तो तारीफ़ करनी ही पड़ेगी...वो भी ऐसी बहन की जिस पर कोई भी भाई नाज़ करे...बेहतरीन कविता लगी...होली हालाँकि गुज़र चुकी है लेकिन उसकी मस्ती अभी भी फिजा में है...तीन दिनों बाद आफिस लौटा और ये कविता देख पढ़ कर दिल खुश हो गया...लिखती रहो...यूँ ही...
जवाब देंहटाएंनीरज
sunder bhav liye sandesh detee rachana acchee lagee .
जवाब देंहटाएंआप सभी पाठकों का बहुत बहुत शुक्रिया कि आप ने इस कविता को पढ़ने का समय निकाला ,न सिर्फ़ ये कि पढ़ा बल्कि सराहा भी
जवाब देंहटाएंइस्मत जी,
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर गीत प्रेम और स्नेह की बौछार करता हुआ।
आपकी शुभकामनाएं मिली
हम रंग से सरोबार हुए
शुभकामनाएं हमारी आपको भिगो दें
हम पिचकारी की धार हुए
होली पर रंग भरी शुभकामनायें
सादर,
मुकेश कुमार तिवारी
है होली नफ़रत से इंकार
जवाब देंहटाएंदिलों के बीच न हो व्यापार
होली पर आपने दिल की बात कह दी !
हर पंक्ति से सदभावना और भाई-चारे का सन्देश मुखरित हो रहा है !
आभार !
सही कहा आपने।
जवाब देंहटाएंहोली के पर्व की अशेष मंगल कामनाएं।
धर्म की क्रान्तिकारी व्या ख्याa।
समाज के विकास के लिए स्त्रियों में जागरूकता जरूरी।
हैं इन रंगों के अर्थ हज़ार
जवाब देंहटाएंनहीं हैं केवल ये बौछार
न इन में द्वेष घोलना
होली पर सार्थक सन्देश देती हुई सुन्दर रचना.
achha sandesh.....
जवाब देंहटाएंholi ki shubhkaamnayen....
..मेरी भी बधाई स्वीकार करें।
जवाब देंहटाएंइश्मत जी !! आपकी कविता ने होली के कई रंगों की बौछार हम पर डाल दी.. बहुत सुन्दर पैगाम के साथ... शुभकामनाएँ
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